mehfil-a-khwaab
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मैखाना
शराबी
वो दगाबाज़ निगाहें जो देखीं उनकी,
शराबी ये दिल हो गया.
पिया ज़हर उन शोक निगाहों से कतरा कतरा,
नशेडी ये मन हो गया,
किया कतल उन्होंने ने भरी महफ़िल में मेरा,
कतल भी मै हुआ और
कातिल भी हो गया.
**एक ख्वाब**
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